सच बोलना जितना मुश्किल है , सच को स्वीकारना उस से भी ज्यादा मुश्किल है .
लेकिन सच ही शाश्वत है और रहेगा
मुझे अपने सच पर उतना ही अभिमान है जितना किसी को अपने झूठ से होने वाले फायदे पर होता हैं
मेरे ब्लॉग के किसी भी लेख को कहीं भी इस्तमाल करने से पहले मुझ से पूछना जरुरी हैं
वाह वाह वाह वाह ........और क्या कहना....बधाई
ReplyDeleteबहुत सुंदर।
ReplyDeleteबहुत सुन्दर
ReplyDeleteADHBHUT, ATULNIY.
ReplyDeleteThink Scientific Act Scientific
गजब !!
ReplyDeleteयदि वायु प्रदूषण इसी प्रकार से बढता रहा तो शायद आगे चलकर आह्! ताज बोलना पडेगा!!!!!
ReplyDeleteवाह ताज !
ReplyDelete