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October 04, 2011

वैसे ईश्वर कौन बनेगा करोडपति देखता हैं क्या ??

के बी सी मे कल के महिला कन्टेसटेन्ट आई थी । उन्होने बताया की वो कुछ भी काम नहीं करना चाहती हैं यहाँ तक की वो अपने घर की पूजा भी अपनी मेड से करवा लेती हैं । उनके इच्छा हैं की क़ोई कम्पनी ऐसा क़ोई चिप बनाए जो उनके दिमाग में फिट किया जा सके और फिर जो वो सोचे काम अपने आप हो जाए , जैसे अगर उन्हे लेटे हुए टी वी का रिमोट उठाना हैं तो वो सोचे और रिमोट उनके हाथ में आजाये ।

इन महिला ने सालो से क़ोई भी काम मन से नहीं किया हैं और जो भी उनको करना पडा हैं वो मज़बूरी ही हैं । उनके हिसाब से उन्होने लेप टाप जिस दिन से लिया हैं उस दिन से वो उनके बेड पर रखा हैं और वो उसी को चला लेती हैं और वही छोड़ देती हैं ।

ये महिला एक कॉलेज में प्राध्यापिका थी पर वहाँ बार बार क्लास में जाना होता था , प्रिंसिपल के पास जाना होता था , इस लिये उन्होने अपनी नौकरी छोड़ दी और घर में ट्यूशन पढ़ाने लगी । जो बच्चे पढने आते हैं वो कहते हैं मैडम बड़ी आलसी हैं काम दे कर कुर्सी पर नहीं बैठती हैं अपने बेडरूम में लेट जाती हैं और फिर तब ही नीचे आती हैं जब बच्चो को जाना होता हैं

इन महिला की मन पसंद किताब हैं The Joy Of Laziness .

इन महिला की बाते सुन कर अमिताभ बच्चन ने कहा की उन्होने ऐसा व्यक्ति अपनी जिन्दगी में नहीं देखा ।

महिला का बड बोला पन साफ़ दिख रहा था , पूरे समय वो अमिताभ को बताती रही की वो कितना सही हैं और जीत भी रही हैं ।
२५ लाख वो जीत गयी और उनकी मुस्कुराहट बता रही थी की वो कितनी प्रसन्न हैं और कितना घमंड भी हो रहा हैं उन्हे अपनी सोच पर । इस के बाद ५० लाख के प्रश्न पर आते आते उनकी सब लाइफ लाइन ख़तम हो चुकी थी

५० लाख का प्रश्न २२ कैरट सोने के आभूषण से सम्बंधित था और महिला ने उसका उत्तर बताया । अमिताभ ने हमेशा की तरह क्युकी उनका उत्तर गलत था उनकी मद्दत करनी चाही की आप चाहे तो quit कर सकती हैं पर उन्होने नहीं किया और कहा वो एक दम सही चल रही हैं और गलत जवाब होने के कारण वो २५ लाख से उतर कर १८०००० पर आगयी और फिर रोते हुए गयी

जब वो जीत रही थी तो मै सोच रही थी कि अगर ये इतना पैसा जीत कर जाती हैं तो बहुत से लोग इस बात को सही मान ही लेगे कि बिना मेहनत पैसा कमाया जा सकता हैं क्युकी वो बार बार इस बात को दोहरा रही सी लगी ।

जब वो हार गयी तो मुझे लगा ईश्वर ने सही न्याय किया

वैसे ईश्वर कौन बनेगा करोडपति देखता हैं क्या ??

13 comments:

  1. eeshwar to sab kuchh dekhta hai
    :)
    parantu
    - aisee chip possible hai
    - aisa remote bhi
    - ham log is project par kaam kar rahe hain - though the purpose is not to help laziness, but the physically impaired. The chip will sense brain signals and do the job

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  2. अरे मैंने भी देखा था उसे पच्चीस तक पहुंचने तक।

    उसका ओंठ बिगाड़कर इस तरह बोलना जैसे जबरदस्ती बोल रही हो, बहुत मेहनत कर रही हों बोलने में, उसकी आलसपने वाली तमाम बातें सुनकर जो पहला शब्द मन में आया वह था - 'बोझ'.

    आपकी इस पोस्ट से मुझे पता चला कि आगे क्या हुआ था।

    तमाम अन्य प्रतिभागियों को देख मन में आता है कि और जीते, और बढ़े, थोड़ा और जीतता तो अच्छा था लेकिन इन मोहतरमा के लिये लग रहा है कि अच्छा ही हुआ, वही होना भी चाहिये था :)

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  3. सही कहा सतीश आपने
    कितनी ही प्रतियोगी आते हैं , उनके लिये मन में अगर हार जाते हैं तो आता हैं अनलकी थे पर इनके लिये इनका ना जितना सही लगा

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  4. shilpa
    ek in madam ko bhi bhijwaadena

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  5. NEVER for the likes of such people !!!

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  6. सच कहा रचना जी कल उन्हें देखना बिल्कुल भी बर्दास्त नहीं हो रहा था जैसे ही उन्होंने गलत जवाब दिया मुझे बड़ी ख़ुशी हुई | उनकी बाते जरुरत से ज्यादा बनावटी लग रही थी और साफ दिख रहा था की वो ओवर एक्टिंग कर रही है | के बी सी भगवान देखता है की नहीं पता नहीं पर केबीसी वाले अच्छे से देखते है इस बार उनका थीम है आम आदमी और आप ने देख होगा की हर प्रतियोगी की कोई ना कोई आम सी चाहत और सपना होता है और जिसको जितनी जरुरत होती है उतना उन्हें जितवाया जाता है उनके समझ और खेत्र के सवाल करके पर कल मोहतरमा को हरा कर बताया गया की कुछ भी पाने के लिए आप को मेहनत और अक्ल दोनों का इस्तेमाल करना होगा जो वो नहीं कर रही थी |

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  7. कल ही नहीं देखा . लेकिन आम तौर पर इस बार जिन लोगों को बुलाया जा रहा है , वे ऐसे है की उनसे सहानुभूति सी होती है . आम लोगों को जिन्हें पैसे की बहुत ज़रुरत होती है , उन्हें पैसे देकर निश्चित ही के बी सी इस बार अच्छा काम कर रहा है .

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  8. विश्वास होना अच्छी बात है मगर अतिविश्वास होना नही और ये महिला उसी की शिकार थीं बाकि आपने भी सही कहा है अगर ये सच हो जाता तो लोगो मे गलत धारणा जाती।

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  9. भगवान देखता है कि नहीं यह नहीं जानता लेकिन इतना तो सत्य है कि भगवान को जिसे सजा देनी होती है, उसकी बुद्धि पहले हर लेता है।

    आलस और अहंकार, ये दो दुर्गुण ही पर्याप्त हैं किसी को बर्बाद करने के लिए। उस महिला में दोनो थे।

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  10. इतना आलस कि हमको तो सुनते ही नहीं बन रहा था, या तो बड़बोलापन था और अगर आलसी हैं भी तो कोई लक्जरी का काम तो कर नहीं रही थीं। खैर जो हुआ ठीक ही हुआ।

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  11. ये एपिसोड तो नहीं देखा पर जिस प्रकार आपने बताया अच्छा ही हुआ.कई बार तो अमिताभ पर तरस भी आता है कैसे कैसे लोगों को झेलना पडता है.एक बात आपने सही कही,अमिताभ अक्सर प्रतियोगियों की मदद करते लगते है.उन्हें ऐसा करते देखना अच्छा लगता है.

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  12. आपके ब्लॉग पर् आया बहुत ही अच्छा लगा और ए पोस्ट तो बहुत ही बढिया तरीके से सच्चाई बता रही है !धन्यवाद !
    कभी हमारे ब्लॉग पर् भी आये
    samrat bundelkhand

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