मेरे ब्लॉग के किसी भी लेख को कहीं भी इस्तमाल करने से पहले मुझ से पूछना जरुरी हैं

मेरे ब्लॉग के किसी भी लेख को कहीं भी इस्तमाल करने से पहले मुझ से पूछना जरुरी हैं

July 09, 2011

कोई भी जो इस पोस्ट से सम्बंधित जानकारी रखता हो उपलब्ध करा दे . आभार होगा

मकान / दूकान / वाहन लीज़ और किराये पर देने/लेने में क्या अंतर हैं .
लीज अग्रीमेंट के कागज़ कहां बनते हैं
किराए के कागज़ कहां बनते हैं
दोनों में बेहतर क्या है
दोनों में कितना ख़तरा हैं यानी लीज़ या किराये पर कितना लम्बा समय मान्य होता हैं जिसके बाद दुबारा अग्रीमेंट करना सही हैं वरना लीज धारक / किरायदार को नहीं हटाया जा सकता
इनकम टैक्स देने वाले के लिये क्या उत्तम हैं लीज पर देना/लेना या किराए पर देना /लेना

कोई भी जो इस पोस्ट से सम्बंधित जानकारी रखता हो उपलब्ध करा दे . आभार होगा

2 comments:

  1. इस के लिए आप को अपने क्षेत्र के किसी प्रोफेशनल वकील की सेवाएँ प्राप्त करनी चाहिए।

    ReplyDelete
  2. आम बोल चाल की भाषा में क्या अंतर हैं जो आम आदमी बिना वकील के परामर्श के समझ सके
    जरुरी हैं पहले समझना ताकि वकील के पास जाकर आम आदमी बेवकूफ ही बन जाए
    इस पोस्ट का मकसद साधरण जानकारी पाना और उपलब्ध कराना हैं

    ReplyDelete

Blog Archive