मेरे ब्लॉग के किसी भी लेख को कहीं भी इस्तमाल करने से पहले मुझ से पूछना जरुरी हैं

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July 20, 2011

" आप का जो परिचित हैं उसके आप अ-परिचित हैं" courtsey Google Plus

गूगल प्लस ने कई चक्र बनाए हैं जिनमे एक चक्र का नामकरण  "blocked" किया गया हैं .

यानी चक्र में आप के वो "परिचित" हैं जिन्हे आप अपने लिखे से दूर रखना चाहते हैं और जिन्होने आप को अपने किसी चक्र में जोड़ा हैं .


वैसे परिचित के आगे "अ" लगाना उचित है क्युकी परिचित को ब्लोक कौन करेगा

{वैसे ये जो "आ " इससे गूगल बाबा रुष्ट होगये लगते हैं क्युकी इसको ब्लागस्पाट से गायब ही कर दिया हैं !! }

लेकिन ब्लोक करने से आप किसी को भी अपनी पोस्ट की हुई स्ट्रीम पढने से नहीं रोक सकते
वो स्ट्रीम जो आप ने पब्लिक के लिये पोस्ट की हैं
फिर ब्लोक का अर्थ क्या हुआ
महज इतना की वो "अ-परिचित " आप की स्ट्रीम पर कमेन्ट नहीं कर सकते

गूगल प्लस पर जब आप किसी को "चक्रव्यूह " करते हैं तो लिखा आता हैं की उस परिचित को पता नहीं चलेगा वो आपके किस "चक्र " में हैं
लेकिन आप के "blocked" चक्र में जितने हैं वो जान सकते हैं की वो किस चक्र में हैं बस उन्हे  आप की किसी स्ट्रीम पर कमेन्ट देने की कोशिश करनी है

इसी प्रकार से आप भी चेक कर सकते हैं की आप किसी के blocked चक्र की शोभा तो नहीं बने हैं

अगर किसी ने आप को/ हमे  ब्लोक किया हैं और ये ऊपर की तकनीक से हमे पता चल जाता हैं तो क्या हम को अपने चक्रव्यूह से उस अ- परिचित को आज़ाद कर देना चाहिये ?? क्युकी अगर आप के चक्र में वो रहेगा तो आप को उसकी पोस्ट की हुई स्ट्रीम इत्यादि दिखेगी जबकि आप को वो अपने घर यानी चक्र में ब्लोक कर चुका हैं


आप का जो परिचित  हैं उसके आप अ-परिचित हैं


आप ने जितने लोगो को अपने "चक्रों" में जगह दी हैं उनके प्रोफाइल पर जा कर उनकी स्ट्रीम चेक करे और कोशिश कर के देखे क्या आप कमेन्ट दे पा रहे हैं 

9 comments:

  1. अभी + से अधिक परिचित नहीं हुए हैं, इसलिए कुछ समझ नहीं आया… फ़िर भी अग्रिम जानकारी है मेरे लिए… धन्यवाद

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  2. थोडा थोडा समझ में आने लगा है.

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  3. rachna ji - could i request you to please change the color scheme - padhna mushkil hota hai is theme me

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  4. हम तो इन चक्रों के चक्कर में नहीं पड़ते। अपन तो खुली किताब हैं। जो छुपाना है वो करना ही नहीं है।

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  5. किसी भी इंसान के लिये ये संभव नहीं हैं की वो "अपना सब कुछ " सबसे बांटना चाहे
    यहाँ दिखाने की नहीं तकनीक के आधार पर अपने लिखे को बांटने की हैं और गूगल + के दावे को की आप किस चक्र में हैं जांचने की हैं

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  6. इन चक्करों का चक्कर बड़ा घनचक्कर है। अब तो लगता हमें भी गूगल + के चक्कर लगा ही लेने चाहिए, पर फिर वही चक्कर है कि चक्र के चक्कर में कहीं सिर न चकरा जाए।
    हाहाह
    अच्छी जानकारी दी है आपने, जो उपयोगी भी है, आया तो था यही कहने लेकिन न जाने किस चक्कर में पड़कर इतना कुछ कह गया।

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  7. अभी तो दरवाजे खोले हैं, बाद में बन्द करने की सोचेंगे।

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  8. मैं तो यह समझ रहा था कि मुझे जिसकी स्ट्रीम नहीं पढनी है उसे ब्लॉक करने के बाद वह मुझे नहीं दिखेगी।

    प्रणाम

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